भारत-धर्म


शीत हो या वसंत,

ग्रीष्म हो या हेमंत,

  

   शौर्य का धर्म जगा रहे,

   शील-संस्कृति से सनी

   कर्म की ऊर्जा बनी रहे! 


यही है संकल्प, यही गर्व हमारा,

यही है पुनीत विजय-पर्व हमारा,

यही भारत, यही भारत-धर्म हमारा! 


#विजय_दिवस #विजयदिवस #India #भारत

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

बहुत बार

ऐ हिम, तुम मानव हो क्या?

क्या करूँ ईश्वर ?